बिहार के अररिया और सिवान के बाद मोतिहारी में पुल गिरने का मामला सामने आया है. घटना जिले के घोड़ासहन प्रखंड में शनिवार की रात की है, जहां निर्माणाधीन पुल ध्वस्त हो गया. लगभग डेढ़ करोड़ की लागत से यह पुल बन रहा था. पुल की ढलाई के बाद ही पुल ध्वस्त हो गया. आपको बता दे कि घोड़ासहन प्रखंड के अमवा से चौनपुर स्टेशन जाने वाली सड़क में लगभग 40 फीट पुल बनने का काम चल रहा है.
प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना अन्तर्गत पुल का निर्माण कार्य चल रहा है. एक करोड़ 59 लाख 25 हजार 602 रुपए की लागत से बन रहे पुल के उपरी भाग का शनिवार को ढ़लाई हुआ था लेकिन बीती रात ही यह पुलि गिर गया. वही विभागीय अधिकारी असमाजिक तत्वों द्वारा पुल ध्वस्त किए जाने की बात कह रहे हैं.
आपको बता दे कि मोतिहारी के धीरज कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड की ओर से 18 मीटर लंबा पुल बनवाया जा रहा है. इसका शिलान्यास शिवहर की पूर्व भाजपा सांसद रमा देवी ने इसी साल 10 मार्च को किया था. पुल का निर्माण घोड़ासहन प्रखंड के अमवा से चैनपुर स्टेशन जाने वाले पथ में हो रहा है.
वही इस घटना को लेकर एक ग्रामीण ने बताया कि पुल का निर्माण जिस डायरेक्शन में बनना था उस डायरेक्शन में पुल नहीं बन रहा है. इंजीनियर पुल के डायरेक्शन को बदल कर निर्माण करा रहा है. इसके अलावा पुल निर्माण में लगाए जा रहे मैटेरियल भी गुणवत्तापूर्ण नहीं है. स्टीमेट के अनुसार पुल का निर्माण नहीं हो रहा है जिस कारण ढ़लाई के साथ ही पुल ध्वस्त हो गया.
ग्रामीण ने कहा कि नर्माण में बरती जा रही अनियमितता से ही पुल ध्वस्त हुआ है. इसकी उच्चस्तरीय जांच जरूरी है.
आपको बता दे कि इस महीने अब तक तीन पुल गिरने का मामला सामने आया है. शनिवार को ही सिवान में पुल गिर गया था. गंडक नदी के नहर पर बना 30 फीट लंबा पुल गिर गया जिससे आवागमन बाधित हो गया. महाराजगंज के पटेढ़ा और गरौली गांव के बीच पुल बना हुआ था. यह पुल 40 से 45 साल पुराना था. लोगों ने बताया कि नहर की सफाई के दौरान मिट्टी काटने के कारण पुल ध्वस्त हो गया.
इससे पहले अररिया के सिकटी प्रखंड में 12 करोड़ की लागत से पुल गिर गया था. बकरा नदी पर बन रहे पुल का तीन पाया ध्वस्त हो गया था. एप्रोच पथ का निर्माण होना था इससे पहले ही पुल गिर गया. तीसरी घटना शनिवार की रात है, जहां मोतिहारी में निर्माणाधीन पुल गिर गया.
