मोतिहारी : 31 मई को प्रशांत किशोर मटियरिया और पताही में जनसभा को करेंगे संबोधित : संजय ठाकुर

Live News 24x7
5 Min Read

Live News 24×7 के लिए कैलाश गुप्ता।

मोतिहारी। बिहार सरकार की भ्रष्ट और विकास विरोधी रवैए के खिलाफ जन सुराज के प्रणेता प्रशांत किशोर के नेतृत्व में जारी बिहार बदलाव यात्रा के तहत 31 मई को पूर्वी चंपारण जिले के मटियरिया (हरसिद्धि विधानसभा क्षेत्र सुरक्षित) एवं पताही (चिरैया विधानसभा क्षेत्र) में आयोजित महती जनसभा को संबोधित करेंगे।

श्री किशोर सड़क मार्ग से इन जन सभाओं तक पहुंचेंगे और पूर्ववर्ती सरकारों (कांग्रेस, राजद) तथा मौजूदा नीतीश नित एनडीए गठबंधन की विफलताओं से आम जनता को अवगत कराएंगे। उक्त जानकारी आज यहां प्रदेश प्रवक्ता संजय कुमार ठाकुर ने पत्रकारों को दी।

गौरतलब है कि आजादी के बाद से अबतक की सरकारों ने बिहार को अपनी गलत नीतियों के कारण रसातल में पहुंचा दिया है। यहां ना तो शिक्षा की बेहतर व्यवस्था की गई और ना ही नौजवानों के रोजगार के लिए कोई ठोस उपाय किए गए। कल कारखाने, बड़े व लघु उद्योगों की स्थापना नहीं की गई और जो चीनी मिलें चल रही थी वह भी बंद हो गई। इससे बेरोजगारी और पलायन बिहार की फितरत बन गई है।

श्री ठाकुर ने कहा कि नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव की पूर्व की सरकार ने 500 करोड रुपए खर्च कर जातीगत जनगणना कराई, उसके अनुसार 34 प्रतिशत लोग गरीबी रेखा से नीचे पाए गए तथा 50 लाख से अधिक दलित समाज के लोग भूमिहीन पाए गए।

उस सर्वे से यह भी ज्ञात हुआ कि दलित समाज के लोग आजादी के बाद से अबतक मात्र 5 प्रतिशत हीं तथा अति पिछड़ा समाज के 7 प्रतिशत लोग हीं बारहवीं की परीक्षा पास कर पाए। यह सरकार की गलत शिक्षा नीति का जीवंत प्रमाण है। इस सर्वे में यह भी ज्ञात हुआ कि 3 करोड़ से अधिक बिहारी देश के दूसरे राज्यों में रोजी रोटी के लिए पलायन कर चुके हैं।

श्री ठाकुर ने बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिहार विधानसभा में तब यह घोषणा की थी की 94 लाख गरीबी रेखा से नीचे जीवन बसर करने वाले लोगों को दो दो लाख रुपए प्रोत्साहन राशि के रूप में दी जाएगी ताकि वह अपना रोजगार शुरू कर अपनी माली हालत दुरुस्त कर सकेंगे। किंतु आज तक एक भी व्यक्ति को उक्त प्रोत्साहन राशि नहीं दी गई।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने दलित मिशन की स्थापना कर यह घोषणा की थी कि 50 लाख भूमिहीन परिवारों को 3 डिसमिल जमीन दी जाएगी।सरकारी जमीन के अलावा किसानों से भी जमीन खरीद कर यह लक्ष्य पूरा किया जाएगा, किंतु नीतीश कुमार की यह घोषणा भी लफ्फाजी साबित हुई। 234000 दलितों को उक्त भूमि दी गई किंतु उसमें 120000 दलित परिवार जमीन पर कब्जा के लिए प्रशासन का चक्कर लगा रहे हैं।

इधर सरकार ने जमीन सर्वे का कार्यक्रम प्रारंभ किया लेकिन इसकी पूर्व से कोई तैयारी नहीं की गई और ना ही वैज्ञानिक मापदंडों का इस्तेमाल हुआ। नतीजतन यह कार्यक्रम भी भ्रष्टाचारी अधिकारियों कर्मचारियों के चंगुल में फंस कर रह गया है और किसान तथा अन्य भू स्वामी शोषण के शिकार हो रहे हैं।
इन्हीं तीन विषयों पर जन सुराज के प्रणेता और सर्वमान्य नेता प्रशांत किशोर बिहार बदलाव यात्रा पर प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में भ्रमण कर रहे हैं तथा जनसभाओं को संबोधित कर रहे हैं।

सरकार के खिलाफ हस्ताक्षर अभियान भी चलाया जा रहा है और जुलाई महीने में एक करोड़ हस्ताक्षर के साथ मौजूदा सरकार के खिलाफ महामहिम राज्यपाल को सौंपा जाएगा। श्री ठाकुर ने कहा कि पूर्वी चंपारण जिले के दोनों जनसभाओं के लिए सारी तैयारियां पूरी कर ली गई है और बड़ी संख्या में चंपारण के लोग इन सभाओं में उपस्थित रहेंगे।

उन्होंने सभी प्रखंड, अनुमंडल और जिला संगठन से जुड़े पदाधिकारियों से अपील की है कि वे अधिक से अधिक नागरिकों के साथ उपस्थित होकर इन सभाओं को सफल बनाएं और गांधी की कर्मभूमि चंपारण का सम्मान बढ़ाएं।

108
Share This Article
Leave a review

Leave a review

Your email address will not be published. Required fields are marked *