खबर बिहार की राजधानी पटना की है जहां पटना में नौकरी से हटाए जाने के विरोध में गेस्ट टीचरों ने विरोध-प्रदर्शन किया। सीएम से मिलने जा रहे प्रदर्शनकारियों को पुलिस ने चिड़ियाघर के गेट नंबर-1 के पास रोक दिया। प्रदर्शनकारियों से प्रशासन ने लौट जाने का आग्रह किया, लेकिन कोई मानने को तैयार नहीं थे। जिसके बाद पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया।
अतिथि शिक्षकों का कहना है कि हमने लगभग 6 वर्षों तक अपनी सेवा $2 विद्यालय में दी है। अब हमारी सेवा को समाप्त कर दिया गया है। इसी को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात करने जा रहे थे, लेकिन बीच रास्ते में ही बिना कारण जाने प्रशासन ने लाठियां मारनी शुरू कर दी।
वहीं, इस मामले पर आरजेडी सुप्रीमो लालू यादव की बेटी रोहिणी आचार्य ने भी बिहार सरकार को घेरा है। उन्होने एक्स पर लिखा है कि अपनी मांगों के लिए शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे गेस्ट टीचरों पर डबल इंजन वाली सरकार के द्वारा लाठीचार्ज करवाना निंदनीय है। पुलिसिया लाठी के जोर से चलाए जा रहे शासन का हिसाब बिहार की जनता जल्द ही करेगी।
आपको बता दे कि बिहार के 4 हजार से ज्यादा अतिथि शिक्षकों से सरकार ने सेवा लेने से मना कर दिया है। 31 मार्च को उनके कार्यकाल का आखिरी दिन था। शिक्षा विभाग ने उन्हें सेवा मुक्त कर दिया है।
1 अप्रैल को भी सीएम हाउस के सामने अतिथि शिक्षकों पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया था। शिक्षक अपनी मांगों को लेकर सीएम आवास का घेराव करने पहुंचे थे। पुलिस ने पहले उन्हें रोका, लेकिन जब वो नहीं माने तो लाठीचार्ज कर उन्हें वहां से हटा दिया। इस दौरान कई शिक्षकों को चोटें भी आई थी।
