- अभी तक यह चकिया अनुमंडलीय अस्पताल में संचालित हो रहा था
- 20 बेड का होगा एनआरसी केंद्र, कुपोषित बच्चों के लिए होगा वरदान
- कुपोषित बच्चों को माँ के साथ रहने, खाने और इलाज की मिलेगी निःशुल्क सुविधा
मोतिहारी : जिले के लिए बड़ी खुशखबरी है। इस माह के अंत तक कुपोषित बच्चों के इलाज के लिए सदर अस्पताल के पुराने एसएनसीयू बिल्डिंग में पोषण पुनर्वास केंद्र को शिफ्ट किया जाएगा। इसके लिए तैयारीयाँ शुरू कर दी गईं है। पूर्व में यह केंद्र चकिया अनुमंडलीय अस्पताल में संचालित हो रहा था। एसएनसीयू वार्ड के नए एमसीएच बिल्डिंग में शिफ्ट होने पर पुराने एसएनसीयू वार्ड में पोषण पुनर्वास केंद्र को शिफ्ट किया जाएगा।
इस सम्बन्ध में सदर अस्पताल के प्रबंधक कौशल दुबे ने बताया कि सदर अस्पताल में पोषण पुनर्वास केंद्र खुलने से जिले भर के कुपोषित बच्चों के अभिभावकों को लाभ मिलेगा। उन्होंने बताया कि सदर अस्पताल में बच्चों के इलाज हेतु प्रतिदिन सैकड़ो की संख्या में मरीज आते हैं। ऐसे में कुपोषित होने पर उन्हें सीधे एनआरसी केंद्र में भर्ती किया जाएगा। उन्होंने बताया कि तत्काल 20 बेड का एनआरसी केंद्र स्थापित हो रहा है। यहाँ कुपोषित बच्चों को माँ के साथ रहने, खाने के साथ बेहतर इलाज की निःशुल्क सुविधा प्राप्त होगी। डीपीसी सह एनआरसी के नोडल भारत भूषण ने बताया कि पोषण पुनर्वास केंद्र में 0 से लेकर 05 वर्ष तक के कुपोषित बच्चों की भर्ती शिशु रोग विशेषज्ञ के जांच, पहचान के बाद होगी। आंगनबाड़ी सेविका व आशा कार्यकर्ताओं द्वारा कुपोषित बच्चों की पहचान होने के बाद उपचार के लिए एनआरसी लाने पर 200 रुपए की प्रोत्साहन राशि दी जाती है।
बच्चे में कुपोषण के लक्षण:
मांसपेशियों का कमजोर होना।
हर समय थकान और कमजोरी महसूस होना।
बार-बार सर्दी जुकाम से परेशान होना।
भूख में कमी और खाने में अरुचि पैदा होना।
स्वभाव में चिड़चिड़ापन आना।
लंबाई और वजन कम बढ़ना।
बच्चे को पेट से जुड़ी समस्या रहना।
पेट और छाती निकलना, आदि।
