खनन माफियाओं का है बल्ले-बल्ले? हैरत की बात तो यह है की अवैध मिट्टी खनन की सूचना खनन विभाग और अंचलाधिकारी पल्ल्वी कुमारी को देने के बावजूद भी नहीं हो रही है कोई कार्यवाही?
आखिर वैसी क्या मजबूरियाँ है जो सम्बंधित अधिकारीयों को कार्यवाही करने से करना पड़ता है परहेज़? मामला
मुजफ्फरपुर जिले के सकरा अंचल क्षेत्र मे खनन माफियाओं द्वारा अवैध मिट्टी खनन करने का मामला जोरों पर है। क्षेत्र के लगभग सभी ढाब इलाका व चौर खनन माफियाओं के लिए सुरक्षित जोन है जहाँ खनन विभाग व अंचलाधिकारी के रहम वो करम से अवैध मिट्टी खनन माफियाओं का बल्ले बल्ले है। बिना कोई डर और भय का खनन विभाग व सकरा सी ओ को ठेंगा दिखाते हुए मिट्टी खनन माफियाओं द्वारा दस फ़ीट से बीस फिट तक मिट्टी खनन कर सरकार को चुना लगाने का कार्य किया जा रहा है। इलाका के लगभग सभी चौर और ढाब मे रात्रि से लेकर सुबह तक अवैध मिट्टी खनन का सिलसिला चलता रहता है। पर जिला खनन पदाधिकारी वो सी ओ सकरा को इसकी भनक तक नहीं लगती है? हैरत की बात तो यह है कि विभाग के अधिकारीयों वो सकरा सी ओ को अवैध खनन की सूचना देने के बावजूद भी खनन माफियाओं के विपक्ष मे कार्यवाही करने से परहेज़ किया जाता है। सकरा वाजिद निवासी अरविन्द कुमार दुबे ने कहा कि हमलोगों का ज़मीन दोहर चौर सकरा वाजिद मे हैं जहाँ खनन माफियाओं द्वारा युद्धस्तर पर 15 से 20 फिट मिट्टी खनन का कार्य खुलेआम हो रहा है। जिसकी सूचना हमलोगों ने सम्बंधित अधिकारीयों को व्हाट्स अप्प वो ईमेल के द्वारा दिया। पर आजतक कोई पदाधिकारी खनन स्थल पर नहीं आए और ना ही माफियाओं के विपक्ष मे कोई कार्यवाही की गयी।
आगे उन्होंने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है जैसे माफियाओं द्वारा ऊपर से नीचे तक के पदाधिकारियों को अपने वश मे कर रखा है। अन्यथा सूचना देने के बाद भी कार्यवाही क्यों नहीं हो रही है यह बड़ा सवाल है?
मुजफ्फरपुर जिले के खनन विभाग वो अंचलाधिकारी सकरा के रहम व करम से खुलेआम चल रही है अवैध मिट्टी खनन का धंधा।
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